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BREAKING : सारंडा में आयरन ओर का अवैध खनन का खेल फिर शुरू, पूर्व मंत्री ने किस पर लगाया आरोप, पढ़िए खबर में

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 न्यूज डेस्क

चाईबासा ( CHAIBASA) :  पश्चिम सिंहभूम जिले में अवैध खनन का मुद्दा एक बार फिर सुर्खियों में है. भाजपा प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व मंत्री बड़कुंवर गागराई ने शुक्रवार को जगन्नाथपुर विधानसभा क्षेत्र के जामदा, जामदा बस्ती, नोवामुंडी के ठांकुरा, कांडे नाला और बालजुड़ी सहित कई इलाकों का दौरा किया. उनका कहना है कि लगातार कार्यकर्ताओं और स्थानीय लोगों से शिकायतें मिल रही थीं कि इलाके में अवैध खनन धड़ल्ले से चल रहा है. इसी जानकारी की पुष्टि के लिए उन्होंने स्वयं मौके पर जाकर स्थिति का जायजा लिया.

 स्थानीय पुलिस, वन विभाग और खनन विभाग के कुछ अधिकारी खनन माफियाओं के साथ

दौरे के बाद पूर्व मंत्री ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि इलाके में बड़े पैमाने पर अवैध खनन बिना प्रशासनिक संरक्षण के संभव नहीं है. उनका आरोप है कि स्थानीय पुलिस, वन विभाग और खनन विभाग के कुछ अधिकारी खनन माफियाओं के साथ मिलकर इस अवैध कारोबार को बढ़ावा दे रहे हैं. उन्होंने कहा कि जहां सरकार यह दावा करती है कि करीब 40 माइंस बंद हैं, वहीं दूसरी तरफ उन्हीं क्षेत्रों में रात-दिन अवैध खनन चलता है. यह एक बहुत बड़ा विरोधाभास है.

 

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गागराई ने कहा कि अवैध खनन के कारण स्थानीय लोगों के रोजगार पर गंभीर असर पड़ रहा है. उन्होंने बताया कि खदानें बंद होने के नाम पर मजदूरों को बेरोजगार कर दिया गया, लेकिन दूसरी ओर अवैध खनन के जरिए माफिया लाभ कमा रहे हैं. इससे परेशान ग्रामीण पलायन के लिए मजबूर हैं.

 पूर्व मंत्री ने राज्य सरकार पर भी सीधा निशाना साधते हुए कहा कि यह पूरा खेल सरकार के इशारे पर चल रहा है. राज्य सरकार भी इस धरती की मलाई खाने में लगी हुई है, इसलिए प्रशासन से लेकर विभाग तक सब चुप हैं.

 उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि तत्काल अवैध खनन पर रोक नहीं लगी, तो वे इस मामले को केंद्र सरकार तक पहुंचाएंगे. उन्होंने स्पष्ट कहा कि अगर जरूरत पड़ी, तो मैं केंद्रीय गृह मंत्री, केंद्रीय वन मंत्री और केंद्रीय खनन मंत्री से मिलकर इस विषय को रखूंगा. इसके बाद मामला अदालत तक भी जाएगा, ताकि दोषियों पर कड़ी कार्रवाई हो सके.

 गागराई का कहना है कि उनके दौरे के दौरान कई स्थानों पर अवैध खनन करते मजदूर और भारी वाहन स्पष्ट रूप से दिखे, जिससे साफ होता है कि क्षेत्र में यह गतिविधि बड़े पैमाने पर चल रही है. उन्होंने जिला प्रशासन से तत्काल जांच कर अवैध खनन पर पूर्ण रोक लगाने की मांग की है.

 फिलहाल प्रशासन की ओर से इस मामले पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी गई है, लेकिन जिले में अवैध खनन को लेकर एक बार फिर राजनीतिक माहौल गर्म हो गया है.

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